‘आपातकालीन स्थिति में जागरूकता’ कार्यक्रम में शामिल हुए सैकड़ो नागरिक

इंदौर देश की सुरक्षा व्यवस्था और नागरिक जागरूकता को सशक्त करने की दिशा में बुधवार 07 मई 2025 को इंदौर के ऐतिहासिक छप्पन दुकान क्षेत्र में एक विशेष सुरक्षा जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम की अगुवाई जाने-माने एंडोक्राइनोलॉजिस्ट डॉ. संदीप जुल्का ने की। इस आयोजन में आम नागरिकों को आपातकालीन परिस्थितियों में सही प्रतिक्रिया देने के लिए तैयार करना और उन्हें हाल ही में हुए ‘ऑपरेशन सिंदूर’ जैसी सैन्य कार्रवाइयों की संवेदनशीलता और रणनीतिकता से अवगत कराना।

कार्यक्रम की शुरुआत भारतीय सेना द्वारा पाकिस्तान में की गई एयर स्ट्राइक ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की बधाई और सैन्य सफलताओं के प्रति नागरिक सम्मान के साथ हुई। वक्ताओं ने इसे देश की आत्मरक्षा और निर्णायक सैन्य कूटनीति का प्रतीक बताया। इस दौरान एक्रोपोलिस और सॉफ्टविजन कॉलेज से भारी संख्या में छात्र-छात्राएं एवं कॉलेज प्रबंधन कार्यक्रम में मौजूद रहा।

मेजर जनरल (डॉ.) राजेश चाबा (सेना मेडल, सेवानिवृत्त) ने कहा, “पीओके और पाकिस्तान पर हमला करना देश की सुरक्षा रणनीति का अनिवार्य हिस्सा था। यह संकेत है कि हम एक निर्णायक मोड़ पर खड़े हैं, और अब यह पाकिस्तान पर निर्भर करता है कि वह क्या कदम उठाता है।”lसेना जनता से केवल एक चीज़ चाहती है, जागरूकता। अपनी आंखें और कान खुले रखें, क्योंकि खतरा बाहरी से ज़्यादा अंदरूनी हो सकता है। देश में डर फैलाने वाले तत्वों से सावधान रहें। सोशल मीडिया पर भ्रामक खबरों और अफवाहों को नजरअंदाज करें, जैसे हाल ही में फैलाई गई गलत खबर कि श्रीनगर पर हमला हुआ। ऐसी खबरें जनता में भ्रम फैलाने का हथियार बनती हैं। डिप्लोमेटिक, इकोनॉमिक, इंफॉर्मेटिक और मिलिट्री आधुनिक युद्ध के चार स्तंभ हैं।

ब्रिगेडियर सौरभ जैन ने कहा, “डॉ. जुल्का जैसे नागरिकों की पहल इस समय अत्यंत आवश्यक है। आपके जैसे नागरिकों का समर्थन हमारे जवानों के मनोबल को ऊँचा करता है। पहलगाम हमला देश की एकता को तोड़ने का प्रयास था, लेकिन हमारी मजबूती हमारी धार्मिक सौहार्द्र में है।”

लेफ्टिनेंट कर्नल आशीष मंगरुलकर ने कहा, “ऑपरेशन सिंदूर भारतीय रणनीति की परिपक्वता का प्रमाण है। हमारी सैन्य विरासत 5,000 वर्षों की है। हमने अब तक एक करोड़ से अधिक सैनिक विश्व को दिए हैं। हमारी शक्ति हमारी योजना में है। युद्ध जोश से नहीं, होश से लड़ा जाता है। शांति के समय किया गया अभ्यास ही युद्ध में जीवन बचाता है – ‘If you sweat in peace, you bleed less in war.’ हर नागरिक को गंभीरता से सोचकर, कंधे से कंधा मिलाकर सेना का साथ देना होगा।”

डॉ. संदीप जुल्का ने नागरिकों से कहा, “हमारा उद्देश्य किसी धर्म या जाति से ऊपर उठकर केवल भारत के नागरिक के रूप में खड़ा होना है। हमें एकजुट रहना है। सरकार आज शाम सुरक्षा संबंधी दिशानिर्देश जारी करने जा रही है, सभी नागरिकों से अनुरोध है कि वे उन्हें ध्यान से पढ़ें, समझें और अमल में लाएं। यह समय गुटों में बंटने का नहीं, देश के लिए एक साथ खड़े होने का है। देश की सुरक्षा केवल सैनिकों की नहीं, हम सबकी जिम्मेदारी है। आज शाम को होने वाली मॉक ड्रिल और सरकार के द्वारा दिए गए दिशा निर्देशों को सावधानी से सुने और सुना का सहयोग करें।”

शहीद लेफ्टिनेंट गौतम जैन के पिता एस. पी. जैन ने कहा, “हमारी सेना हर खतरे से निपटने में सक्षम है। लेकिन जागरूक नागरिक ही हमारी पहली सुरक्षा पंक्ति हैं। कुछ भी असामान्य दिखे, तो तुरंत प्रशासन को सूचित करें। अनुशासन बनाए रखें, डरें नहीं, साहस दिखाएं।”

संघ के अध्यक्ष श्री गुंजन शर्मा ने इस राष्ट्रहित के आयोजन के लिए सभी नागरिकों के लिए मुफ्त भोजन और जलपान की व्यवस्था करवाई। उन्होंने कहा, “यह हमारी तरफ से एक छोटा सा योगदान है देश की सुरक्षा और जागरूकता के लिए। जब देश की बात हो, तो हर व्यापारी और नागरिक को अपना कर्तव्य निभाना चाहिए।”

इस कार्यक्रम में छप्पन दुकान व्यापारी संघ के अध्यक्ष श्री गुंजन शर्मा के साथ साथ सॉफ्टविज़न कॉलेज के डायरेक्टर श्री नीरज देसाई एवं एक्रोपोलिस कॉलेज के डायरेक्टर डॉ. एके सोजतिया का विशेष योगदान है।

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